Fundamental of Computer in Hindi for School Students


प्रश्न 1 :  कंप्यूटर किसे कहते हैं ?

उत्तर :  कंप्यूटर एक विद्युत संयंत्र है, जो हमारे द्वारा दिए गए निर्देशों को ग्रहण करता है। हमारे द्वारा दिए गए निर्देशों के अनुसार उस पर कार्य करता है तथा हमें परिणाम प्रदान करता है।



    प्रश्न 2 :  कंप्यूटर की विशेषताएं बताओ ?

    उत्तर :  कंप्यूटर की निम्नलिखित विशेषताएं होती हैं :
    1. गति : कंप्यूटर बहुत ही तीव्र गति से कार्य करते हैं।
    2. परिश्रमी : कंप्यूटर अत्यंत परिश्रमी होते हैं, ये लगातार बिना थके कार्य कर सकते हैं।
    3. अचूकता : कंप्यूटर सदैव अचूक होते हैं, ये कोई भी गलती नहीं करते। अगर कोई गलती होती हैं तो वह हमारे द्वारा दिए गए गलत निर्देशों के कारण होती हैं।
    4. बहुमुखी : कंप्यूटर बहुमुखी होते है, ये अनेक प्रकार के कार्यो को बड़ी आसानी से कर सकते है। जैसे : दस्तावेज तैयार करना, गेम खेलना, गाने सुनना आदि।
    5. स्टोरेज : कंप्यूटर के अंदर मेमोरी होती हैं, जिसमें हम सूचनाओं को भविष्य में प्रयोग के लिए सुरक्षित रख सकते हैं।

    प्रश्न 3 :  कंप्यूटर के उपयोग बताओ ?

    उत्तर :  कंप्यूटर का उपयोग लगभग हर क्षेत्र में होने लगा हैं। कुछ उपयोग निम्नलिखित हैं :
    1. बैंको में : कंप्यूटर का उपयोग बैंको में पैसे के लेनदेन का रिकॉर्ड रखने के लिए किया जाता हैं।
    2. यात्रा में : कंप्यूटर का उपयोग यात्रा के लिए किया जाता हैं। हमें रेल व जहाज की टिकट कंप्यूटर द्वारा ही प्राप्त होती हैं।
    3. शिक्षा में : शिक्षा के क्षेत्र में जब से कंप्यूटर आया हैं, तब से शिक्षा का स्तर बढ़ गया हैं। विधार्थी कोई भी जानकारी आसानी से इंटरनेट द्वारा प्राप्त कर सकते हैं।
    4. विज्ञान में : विज्ञान के क्षेत्र में कंप्यूटर की एक अहम भूमिका हैं। वैज्ञानिक विभिन्न प्रकार के शोधों के लिए कंप्यूटर का इस्तेमाल करते हैं।
    5. हस्पतालों में : हस्पतालों के लिए कंप्यूटर एक चमत्कार हैं क्योंकि कंप्यूटर द्वारा चैक कर रोगो का इलाज जल्दी संभव हो पाता हैं।
    6. मनोरंजन के लिए : हम कंप्यूटर का इस्तमाल मनोरंजन के लिए करते हैं। जैसे गेम खेल कर, गाने सुन कर,  वीडियो देख कर आदि।


    प्रश्न 4 :  कंप्यूटर की सरंचना बताओ ?

    उत्तर :  कंप्यूटर के अवयव और उनके बीच के सम्बन्ध को कंप्यूटर की सरंचना कहते हैं, इसके प्रमुख 3 भाग हैं :

    1. इनपुट यूनिट
    2. सेन्ट्रल प्रोसेसिंग यूनिट ( सीपीयू )
    3. आउटपुट यूनिट


    1) इनपुट यूनिट : जिन यूनिट के माध्यम से हम कंप्यूटर को निर्देश देते हैं उन्हें इनपुट यूनिट कहते हैं जैसे की-बोर्ड, माउस आदि।

    2) सेन्ट्रल प्रोसेसिंग यूनिट : सीपीयू को हम कंप्यूटर का मस्तिष्क भी कहते हैं। कंप्यूटर में जो भी काम होता हैं, वह सीपीयू के द्वारा ही किया जाता हैं। इसके 3 अवयव होते हैं :

    • अर्थमेटिक एंड लॉजिक यूनिट : सीपीयू के लिए अंकगणितीय क्रियाएं (जैसे जोड़, घटा, गुना, भाग) व तार्किक क्रियाएं (जैसे दो संख्याओं में अंतर बताना कि कौन सी छोटी, बड़ी या बराबर हैं) अर्थमेटिक एंड लॉजिक यूनिट द्वारा की जाती हैं।
    • कंट्रोल यूनिट : इस भाग का कार्य सबसे महत्वपूर्ण होता हैं, यह कंप्यूटर के सभी कार्यों पर नजर रखता हैं और उनमें तालमेल बैठाने के लिए आदेश भेजता हैं। यह सभी कार्यों को कंट्रोल में रखता हैं।
    • मेमोरी : मेमोरी में हम दिए गए निर्देशों और प्रोसेस किये गए डाटा को सुरक्षित सेव कर सकते हैं।

    3) आउटपुट यूनिट : जिन यूनिट के माध्यम से हम परिणाम प्राप्त करते हैं उन्हें आउटपुट यूनिट कहते हैं जैसे मॉनिटर, प्रिंटर आदि


    प्रश्न 5 :  हार्डवेयर किसे कहते हैं ?

    उत्तर :  कंप्यूटर के वे सभी इलेक्ट्रॉनिक, विद्युतीय और यांत्रिक अवयव जिन्हें देखा या छुआ जा सकता हैं, हार्डवेयर कहलाते हैं। जैसे कि-बोर्ड, माउस, मॉनिटर आदि।


    प्रश्न 6 :  सॉफ्टवेर किसे कहते हैं ?

    उत्तर :  सॉफ्टवेयर प्रोग्रामों का समूह होता हैं। प्रोग्राम उन निर्देशों के समूह होते है जो किसी विशेष समस्या को हल करने के लिए कंप्यूटर को दिए जाते हैं। जैसे ऑपरेटिंग सिस्टम, माइक्रोसॉफ्ट ऑफिस, फोटोशॉप आदि।

    सॉफ्टवेयर के प्रकार :
    सॉफ्टवेयर को 2 भागों में विभाजित किया गया हैं :


    1) सिस्टम सॉफ्टवेयर : ये सॉफ्टवेयर हार्डवेयर उपकरणों को नियंत्रित रखने तथा सिस्टम के रख रखाव का कार्य करते हैं, ताकि एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर अपना काम ठीक तरह से कर सकें। जैसे : ऑपरेटिंग सिस्टम।


    2) एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर : ये सॉफ्टवेयर कोई विशेष कार्य करने के लिए बनाएं जाते हैं, जिन्हें हमारे द्वारा इस्तेमाल किया जाता हैं। हमें जैसा काम होता हैं, हम उसके अनुसार ही सॉफ्टवेयर इस्तेमाल करते हैं। जैसे माइक्रोसॉफ्ट ऑफिस, फोटोशॉप आदि।


    प्रश्न 7 :  मेमोरी किसे कहते हैं ?

    उत्तर :  मेमोरी हार्डवेयर का एक हिस्सा होता है, जिसके अंदर हम डाटा को भविष्य में उपयोग के लिए सेव कर सकते हैं।




    प्रश्न 8 :  प्राइमरी मेमोरी किसे कहते हैं ?

    उत्तर :  वे कंप्यूटर मेमोरी जो सीधे प्रोसेसर द्वारा एक्सेस की जाती है, प्राइमरी मेमोरी कहलाती हैं। इनकी स्पीड बहुत ज्यादा होती हैं, लेकिन स्टोरेज क्षमता कम होती हैं। 

    प्राइमरी मेमोरी 2 प्रकार की होती हैं :
    1) रैम
    2) रोम




    प्रश्न 9 :  रैम के बारे में बताओ ?

    उत्तर :  रैम का पूरा नाम रैंडम एक्सेस मेमोरी होता हैं। यह वर्तमान में प्रयोग होने वाले प्रोग्रामों को अस्थायी रूप से स्टोर करती हैं। जब हम कंप्यूटर को चलाते हैं तो रैम खाली होती हैं, इसके अंदर कोई डाटा या जानकारी नहीं होती।

    इसको हम वोलेटाइल मेमोरी कहते हैं क्योंकि इसके अंदर जो डाटा लिखा होता हैं, वह कंप्यूटर के अचानक बंद होने या बिजली के जाने पर उड़ जाता हैं।

    रैम 2 प्रकार की होती है :

    1) SRAM (Static RAM)
    2) DRAM (Dynamic RAM)

    1) स्टैटिक रैम : इसकी स्पीड बहुत ज्यादा होती है। इस मेमोरी को कैश मेमोरी (Cache Memory) के रूप में प्रयोग किया जाता हैं।

    2) डायनैमिक रैम : इसकी स्पीड स्टैटिक रैम की तुलना में थोड़ी कम होती हैं, इसे थोड़ी थोड़ी देर बाद रिफ्रेश करना आवश्यक होता हैं। इस मेमोरी को सीपीयू में मैन मेमोरी (Main Memory) के रूप में प्रयोग किया जाता हैं।


    प्रश्न 10 :  रोम के बारे में बताओ ?

    उत्तर :  रोम का पूरा नाम रीड ओनली मेमोरी होता है। इसका अर्थ हैं कि हम डाटा को केवल पढ़ सकते है, इसमें कोई परिवर्तन नहीं कर सकते। जब कंप्यूटर को चलाया जाता हैं तो इसे कुछ महत्वपूर्ण जानकारियों की आवश्यकता होती हैं, ये जानकारियाँ रोम में स्टोर होती हैं।

    रोम 4 प्रकार की होती है :

    1) MROM : MROM का पूरा नाम Masked ROM होता है। इस मेमोरी में डाटा इसके निर्माण के दौरान ही लिखा जाता हैं, हम बाद में कुछ भी परिवर्तन नहीं कर सकते।

    2) PROM : PROM का पूरा नाम Programmable Read Only Memory होता है। इस मेमोरी को उपभोक्ता द्वारा बिल्कुल खाली खरीदा जाता हैं व PROM बर्नर की सहायता से  इसमें डाटा को सिर्फ एक ही बार लिखा जा सकता हैं, बाद कोई परिवर्तन नहीं किया जा सकता।

    3) EPROM : EPROM का पूरा नाम Erasable and Programmable Read Only Memory होता है। इस मेमोरी में डाटा को पराबैंगनी किरणों (Ultraviolet Rays) की सहायता से मिटाकर दोबारा लिखा जा सकता हैं। इसमें हम अपनी मर्जी से चुने हुए डाटा को नहीं मिटा सकते, पराबैंगनी किरणों की सहायता से पूरी मेमोरी का डाटा डिलीट हो जाता है।

    4) EEPROM : EEPROM का पूरा नाम Electrically Erasable and Programmable Read Only Memory होता है। इस मेमोरी में डाटा को विद्युत (Electrically) की सहायता से मिटाकर दोबारा लिखा जा सकता हैं। इसमें हम अपनी मर्जी से चुने हुए डाटा को मिटा सकते है।


    प्रश्न 11 :  सेकेंडरी मेमोरी किसे कहते हैं ?

    उत्तर :  सेकेंडरी मेमोरी का उपयोग डाटा को स्थायी रूप से सेव करने के लिए किया जाता है। इसको कंप्यूटर में अलग से जोड़ा जाता हैं। इस मेमोरी में डाटा को सेव करने के बाद यदि कंप्यूटर बंद हो जाता हैं तो डाटा को नुकसान नहीं होगा, दोबारा कंप्यूटर चलाने पर हम डाटा को पुनः प्राप्त कर सकते हैं।

    प्राइमरी मेमोरी की अपेक्षा इसकी गति कम होती हैं, लेकिन स्टोरेज को जरूरत के अनुसार बढ़ाया जा सकता हैं। जैसे : हार्ड डिस्क, फ्लॉपी डिस्क, सी डी, डी वी डी, पेन ड्राइव आदि।

    प्रश्न 12 :  कंप्यूटर मेमोरी की इकाई के बारे में बताओ ?

    उत्तर :  कंप्यूटर मेमोरी की स्टोरेज क्षमता को नापने के लिए जिन इकाईओं की आवश्यकता होती हैं उन्होंने कंप्यूटर मेमोरी की इकाई कहते हैं।

    बिट कंप्यूटर मेमोरी की सबसे छोटी इकाई हैं।

    1 बिट = 0 या 1
    1 निब्बल = 4 बिट्स
    1 बाइट =  8 बिट्स
    1 किलो बाइट =  1024 बाइट्स
    1 मेगा बाइट =  1024 किलो बाइट
    1 गिगा बाइट =  1024 मेगा बाइट
    1 टेरा बाइट =  1024 गिगा बाइट


    प्रश्न 13 :  इनपुट डिवाइस किसे कहते हैं ?

    उत्तर :  जिन डिवाइस के द्वारा हम कंप्यूटर को निर्देश देते हैं उन्हें इनपुट डिवाइस कहते है। जैसे : की बोर्ड, माउस, लाइट पेन, जॉयस्टिक, आदि।

    प्रश्न 14 :  आउटपुट डिवाइस किसे कहते हैं ?

    उत्तर :  जिन डिवाइस के द्वारा कंप्यूटर हमे परिणाम प्रदान करता हैं, उन्हें आउटपुट डिवाइस कहते हैं। जैसे : मॉनिटर, प्रिंटर, प्लॉटर आदि।